आवेश का रेखीय घनत्व का मात्रक होता है
वैद्युत क्षेत्र की तीव्रता का विमीय सूत्र होता है
8 कूलॉम्ब ऋण आवेश में उपस्थित इलेक्ट्रॉनों की संख्या है
5 कूलॉम्ब के दो बराबर तथा विपरीत आवेश परस्पर 5·0 सेमी दूरी पर रखे गये हैं। इस निकाय का वैद्युत द्विध्रुव आघूर्ण है
धातु के आवेशित गोले के पृष्ठ से गोले के केन्द्र की ओर जाने पर वैद्युत क्षेत्र (As we go from the surface of a charged metallic sphere to its center, the electric field)
एक बन्द पृष्ठ के अंदर n वैद्युत द्विध्रुव स्थित हैं। बन्द पृष्ठ से निर्गत कुल वैद्युत फ्लक्स होगा (Total electric flux from closed surface with n electric dipoles is)
निरक्षीय स्थिति में वैद्युत द्विध्रुव के कारण वैद्युत विभव होता है (In broad-side-on position, the electric potential due to electric dipole is)
दो आवेशों के बीच की दूरी आधी कर दी जाती है तथा एक आवेश को भी आधा कर दिया जाता है। दोनों के बीच लगने वाला बल, पहले की अपेक्षा हो जाएगा (The distance between two charges is made half and one of the charges is also halved. The force acting between the two will become as compared to previous value)
0-2 JC के दो बराबर तथा विपरीत आवेशों के बीच की दूरी 30 सेमी है। इनका वैद्युत द्विध्रुव आधूर्ण होगा (The distance between two equal and opposite charges of 0-2 uC i 3.0 cm. Their electric dipole moment will be)